बांग्लादेश से होते हुए आसाम पहुँचने पर सूफ़ी संत सैय्यद नज़र अली बाबा का हुआ इस्तक़बाल
मुजाहिदुल आरेफिन हज़रत सैय्यद नज़र अली शाह कलंदर बाबा साहब ने गद्दीनशीन हज़रत अबूल क़ासिम साहब को खिलाफत नामा व सिरते फखरुल आरेफिन का नजराना दिया

बांग्लादेश से होते हुए आसाम पहुँचने पर सूफ़ी संत सैय्यद नज़र अली बाबा का हुआ इस्तक़बाल
आज बांग्लादेश के चट्टगांव मिर्जाख़ील दरबारे आलिया फखरुल आरेफिन के खलीफा आसाम के नोगांव स्थित हज़रत रेहान अली शाह जहांगिरी के दरबार पहुंचे जहा पहुँचने पर हज़रत के पोते गद्दीनशीन हज़रत अबूल क़ासिम जहांगिरी ने बांग्लादेश से आसाम पहुंचे मुजाहिदुल आरेफिन हज़रत सैय्यद नज़र अली शाह कलंदर का चापरमुख रेल्वे स्टेशन पहुंच कर इस्तक़बाल किया हज़रत के साथ आप के खलीफा हज़रत मुस्ताक कादरी साहब व हाजी आरिफ कादरी का इस्तक़बाल गद्दीनाशीन हज़रत अबूल क़ासिम साहब के साथ इफ़्तीखार भाई अबू हनीफ भाई अब्दुल हई साहब करामत अली मोईनुद्दीन भाई अताबुर्रेहमान भाई और सिलसिले के सेकड़ो लोगो ने हज़रत का इस्तक़बाल किया
बाद मुजाहिदुल आरेफिन सैय्यद नज़र अली बाबा ने हज़रत के आस्ताने पहुंच कर हाजरी पेश की फिर हज़रत के पोते और गद्दीनशीन हज़रत अबुलक़ासिम साहब को नूरुल आरेफिन हज़रत सैय्यदना मौलाना अब्दुल हमीद शाह जहांगिरी रे.अ. ने जो खिलाफत अपनी हयाती मे अजमेर शरीफ मे दी थी उसे नूरुल आरेफिन के गद्दीनशीन हज़रत अब्दुल रेहमान शाह जहांगिरी के दस्तेहस्त खिलाफत नामा आज हज़रत सैय्यद नज़र अली शाह के हाथ से उन्हें सौंपा गया साथ सिरते फखरुल आरेफिन की किताब भी तोहफाए नज़राना दी गई