परीक्षा अंतिम नहीं है, मन से नहीं हारे अभ्यर्थी : के.के.गुप्ता
परीक्षा अंतिम नहीं है, मन से नहीं हारे अभ्यर्थी : के.के.गुप्ता
- हमारी कोशिश बेहतर तैयारी की लिए होनी चाहिए
Ktg समाचार रिपोर्टर नरेश कुमार भोई डूंगरपुर, राज
डूंगरपुर। राजस्थान सरकार के पूर्व स्वच्छता ब्रांड एंबेसडर व डूंगरपुर नगर परिषद के पूर्व सभापति के.के.गुप्ता ने हाल ही में 26 सितंबर को हो रही रीट परीक्षा को लेकर अभ्यर्थियों को जरा भी मानसिक तनाव ना पालने की बात कही है। गुप्ता ने कहा की राजस्थान में 26 सितंबर को रीट की परीक्षा होने जा रही है। इस परीक्षा में 16 लाख से ज्यादा स्टूडेंट्स बैठेंगे। परीक्षा की तारीख फाइनल है, लेकिन पहले कई बार पोस्टपॉन्ड हो चुकी है। कोरोना काल में लंबे समय से रीट की तैयारी करते-करते बहुत से स्टूडेंट्स मानसिक बीमारियों के शिकार भी होने लगे हैं। लक्षण नजर आने पर सतर्कता बरतते हुए स्टूडेंट को किसी भी अच्छे डॉक्टर से उपचार लेना चाहिए। लापरवाही नहीं बरतनी चाहिए। क्योंकि परीक्षा में अच्छे मार्क्स लाने के लिए जरूरी है मानसिक रूप से स्वस्थ रहना। ज्यादातर स्टूडेंट्स बार-बार परीक्षा पोस्टपॉन्ड होने से स्टूडेंट्स के दिमाग पर बड़ा असर पड़ा है। स्टूडेंट्स पर काफी नेगेटिव असर पड़ा है। जो रीट स्टूडेंट्स मनोचिकित्सक के पास पहुंच रहे हैं, आम तौर पर उनमें स्ट्रेस का लेवल बढ़ा हुआ है। नींद नहीं आती, घबराहट (पल्पीटेशन) ज्यादा होती है और सुबह जल्दी आंखें खुल जाती हैं। कई बार शरीर में बहुत दर्द होना और पेट दर्द होने की शिकायतें भी आ रही हैं। रीट की तैयारी कर रही महिलाओं में भी अवसाद और चिंता की शिकायत आ रही है। परीक्षा की तैयारी करने वाली महिलाओं और युवतियों में भी चिंता और तनाव के लक्षण दिखे हैं। नींद नहीं आना, घबराहट होना, जो पढ़ा है वह भूल जाना, दिमाग ब्लैंक हो जाना जैसे लक्षण देखने को मिल रहे हैं। कई पेशेंट्स में घबराहट के साथ अचानक उठ जाने, भूख खत्म हो जाने, बेचैनी, नेगेटिव विचार होने, एक्जाम क्रेक नहीं होगा तो क्या होगा, इस तरह के विचार मन में बार-बार आने की समस्या भी हो रही है। ऐसे मरीजों को उनका एनालिसिस करके डॉक्टर काउंसलिंग और उपचार दे रहे हैं। साथ ही उन्हें नियमित रूप से चेकअप करवाने की सलाह भी दे रहे हैं।
जिंदगी से बढ़कर नहीं है परीक्षा :
पूर्व सभापति के.के.गुप्ता ने अभ्यर्थियों को परीक्षा के संदर्भ में बात करते हुए कहा कि जिंदगी से बढ़कर परीक्षा के नंबर नहीं है बस हमें इस दौरान धैर्य का परिचय देने की जरूरत हैं। जिससे रिजल्ट के समय हम भावनाओं पर काबू कर सकें और डिप्रेशन से बच सकें। रीट परीक्षा के परिणाम आने के बाद किसी के सपने सच होंगे तो किसी की आशाओं को चोट पहुंचेगी। कोई अपनी क्षमता से ज्यादा प्रदर्शन करेगा तो किसी की परफॉरमेंस अपेक्षाओं से इतर होगी। लेकिन इन सब उतार- चढ़ाव के बीच आपको निराश होने की बिलकुल भी जरूरत नहीं है और न ही कोई ऐसा कदम उठाने की आवश्यकता है कि जिससे आपकी जिंदगी खतरे में पड़ जाये।
मानसिक रोगों से बचाव करें स्टूडेंट्स :
1. अपनी पढ़ाई का टाइम टेबल सेट करें। 2. टाइम मैनेजमेंट करके ही कोर्स कम्प्लीट करें। 3. पढ़ने के बाद में उसका रिविजन करना जरूरी हैं। 4. पूरे टाइम पढ़ते ही नहीं रहना है। हर 45 मिनट बाद 5 मिनट ब्रेक लें। 5. पढ़ने के लिए कुर्सी-टेबल का उपयोग करें। पोश्चर सही रखें। रीढ़ की हड्डी सीधी रहनी चाहिए। 6. आंखों और गर्दन पर ज्यादा जोर न आने दें। 7. पढ़ते-पढ़ते जब घबराहट या बेचैनी हो, तब डीप ब्रीदिंग यानी गहरी सांस लें। 8. नोट्स बनाने या पढ़ने-लिखने के बाद अपने दोनों हाथों को आगे सामने की ओर खींचकर मसल स्ट्रैचिंग करें। इसी तरह हाथों को खींचकर सिर के ऊपर की ओर भी उठाएं। 9. अगर मूड खराब हो रहा है, तो खुली हवा में जाएं। रूम से बाहर निकल कर सन लाइट में जाकर कुछ देर बिताएं और रेस्ट लें। 10. जो स्टूडेंट्स मनपसंद लाइट म्युजिक सुनते-सुनते पढ़ाई कर सकते हैं, उन्हें म्युजिक थैरेपी से फायदा होता है। 11. बहुत ज्यादा घबराने वाले, नेगेटिव सोच रखने वाले साथी स्टूडेंट्स से बात कम करें और उनसे कम सम्पर्क रखें। 12. जो मित्र आपको मोटिवेट करते हों, जिनके साथ आप अच्छा फील करते हैं। आपको पॉजिटिव एनर्जी मिलती है। उनसे बातचीत ज्यादा करें। 13. लिख कर और बोल कर पढ़ाई करें। 14. रात को चाय, काफी या एनर्जी ड्रिंक न लें। 15. दिन में पढ़ाई करें। ज्यादा देर रात तक पढ़ाई न करें। 16. नींद लेना और बॉडी को रेस्ट देना जरूरी है। 17. नशे या किसी बुरी लत से दूर रहें। 18. अगर कोई परेशानी महसूस हो, इमोशन्स कंट्रोल नहीं हो रहे हों, तो मनोचिकित्सक से सलाह लें। 19. यदि मन में गलत विचार आ रहे हों, सुसाइड जैसे थॉट्स आ रहे हों, तो तुरंत मनोचिकित्सक के पास पहुंचे। 20. यदि खुद को या किसी और को नुकसान पहुंचाने या मारने के विचार आ रहे हों, तो तुरंत मनोचिकित्सक के पास पहुंचे।