उप जिलाधिकारी जयसिंहपुर द्वारा फसल अवशेष/पराली जलाकर पर्यावरण को नुकसान पहुँचाने के जुर्म में लगाया गया अर्थदण्ड।

उप जिलाधिकारी जयसिंहपुर द्वारा एक कम्बाइन हार्वेस्टर मशीन को जब्त कर किया गया सीज।

उप जिलाधिकारी जयसिंहपुर द्वारा फसल अवशेष/पराली जलाकर पर्यावरण को नुकसान पहुँचाने के जुर्म में लगाया गया अर्थदण्ड।

KTG समाचार नरेंद्र कुमार विश्वकर्मा सुल्तानपुर ,उत्तर प्रदेश।

 सुलतानपुर - 21 नवम्बर/जिलाधिकारी रवीश गुप्ता द्वारा दिये गये निर्देश के क्रम में उप जिलाधिकारी जयसिंहपुर संजीव यादव, नायब तहसीलदार संध्या यादव तथा कृषि व राजस्व विभाग की टीम द्वारा पर्यावरण को नुकसान पहुँचाने हेतु किसानों द्वारा पराली न जलाने के निर्देश का उल्लंघन किये जाने पर विधिक कार्यवाही की गयी। 

उप जिलाधिकारी जयसिंहपुर द्वारा बताया गया कि जयसिंहपुर तहसील के अन्तर्गत किसानों द्वारा फसल अवशेष/पराली जलाकर पर्यावरण को नुकसान पहुँचाने के जुर्म में सूर्यकान्त पुत्र नरसिंह नरायन, निवासी-गोसैसिंहपुर पर अर्थदण्ड रू. 5000/-, श्रीपति पुत्र फतेबहादुर, लाल माधव सिंह पुत्र अयोध्या प्रसाद, जलील अहमद पुत्र मोहम्मद अली निवासी-ग्राम बेलसरा प्रत्येक पर रू. 2500-2500/- का अर्थदण्ड लगाया गया। राजस्व टीम द्वारा एक कम्बाइन हार्वेस्टर मशीन जो कि बिना स्ट्रा मैनेजमेण्ट सिस्टम (एस.एम.एस.) चल रही थी, जिसे जब्तकर थाना दोस्तपुर में सीज करा दिया गया है। उन्होंने कहा कि जिलाधिकारी द्वारा दिये गये निर्देश के क्रम में जनपद के सभी किसान भाईयों से अपील की जाती है कि यदि खेतों में फसल अवशेष/पराली जलाकर पर्यावरण को नुकसान पहँुचाया गया, तो उसे जुर्माना देना पड़ेगा, यह जुर्माना जमीन के क्षेत्रफल के आधार पर लगेगा तथा एक बार से अधिक बार पराली जलाते पाये जाने पर अर्थदण्ड के साथ कारावास की कार्यवाही भी की जा सकती है। 

उप जिलाधिकारी जयसिंहपुर द्वारा बताया गया कि फसल का अवशेष जलाने पर रासायनिक क्रियाओं से पर्यावरण को बहुत तेजी से नुकसान पहुंचता है। फसल अवशेषों को जलाने से जड़, तना, पत्तियो में संचित लाभदायक पोषण तत्व नष्ट हो जाते हैं तथा फसल अवशेषों को जलाने से लाभदायक मित्र कीट जलकर मर जाते हैं, जिसके कारण वातावरण पर विपरीत प्रभाव पड़ता है। उन्होंने सभी किसान भाइयों से अनुरोध किया है कि फसल के अवशेष खेतों में न जलायें अन्यथा की स्थिति में पकड़े जाने पर नियमानुसार जुर्माना करने की कार्यवाही संपादित कर दी जाएगी, जिसके लिये किसान भाई स्वयं जिम्मेदार होंगे।