नशा नाश का कारण है और इससे परिवार व समाज का पतन निश्चित है - सुश्री अर्चना दीदी

नशा नाश का कारण है और इससे परिवार व समाज का पतन निश्चित है- सुश्री अर्चना दीदी

नशा नाश का कारण है और इससे परिवार व समाज का पतन निश्चित है - सुश्री अर्चना दीदी

             kTG समाचार लखन दास बैरागी देवास मध्य प्रदेश

नशा नाश का कारण है और इससे परिवार व समाज का पतन निश्चित है- सुश्री अर्चना दीदी 
देवास। श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के पावन अवसर पर श्री हरिकृष्ण मानव गौ सेवा संस्थान द्वारा उज्जैन रोड़ स्थित भीमसी नागूखेड़ी गौशाला में चल रही श्रीमद् भागवत कथा के छठवें दिन भागवत रत्न पूज्या सुश्री अर्चना (दीदी) ने श्रीकृष्ण जी की बाल लीला और रुक्मणी विवाह के सुंदर प्रसंग बखान किया। जिससे कथा पाण्डाल का माहौल भक्तिमय हो गया। संस्थान सचिव घनश्याम मोदी एवं मीडिया प्रभारी दुर्गा कुमावत ने बताया कि अध्यक्ष सुश्री अंकिता सिंह ने कथा श्रवण करने आए भक्तो को विभिन्न प्रजातियों के पौधों का वितरण कर पालन पोषण करने का संकल्प दिलाया। कथा वाचक अर्चना दीदी ने कहा कि वर्तमान में नशा फैशन बन गया है, जिसे देखो किसी न किसी नशे में लिप्त रहता है। आधुनिकता की चकाचौंध में युवा संस्कार भूलकर फैशन का दीवाना हो गया है। नशे और फैशन ने युवा वर्ग को बर्बाद कर दिया है। मनुष्य को नशा करना चाहिए, लेकिन नशा ऐसा हो जिसमें समाज का कल्याण है। नशा भगवान की भक्ति का हो, नशा दीन-दुखियों की सेवा करने का हो। यदि ऐसा नशा करना हो तो ठीक है, लेकिन आज इंसान ये सब चीजें छोडक़र शराब, बीड़ी, सिगरेट, तंबाकू सहित अन्य नशे में डूबा है। व्यासपीठ की आरती मुख्य अतिथि संस्थापक अध्यक्ष दिलीप अग्रवाल एवं अंकिता सिंह ने की। दीदी ने आगे कहा कि युवा वर्ग नशा करना शान समझते हैं, लेकिन यह नशा सेवन करने वाले के साथ ही पूरे परिवार को ले डूबेगा। आज समाज में नशा करना फैशन बन गया है। नशा नाश का कारण है और इससे परिवार और समाज का पतन निश्चित है। कथा के बीच में भजन-कीर्तन में श्रद्धालु झूम उठे। कथा में श्रीकृष्ण रुक्मणि विवाह हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। कथा के दौरान सुमधुर भजनों की प्रस्तुति दी गई, जिस पर श्रद्धालु झूम उठे। समिति द्वारा आयोजन स्थल पर पौधारोपण भी किया गया।