खेत में खड़ी फसल की कटाई कराने पहुंची पुलिस व प्रशासन की टीम

खेत में खड़ी फसल की कटाई कराने पहुंची पुलिस व प्रशासन की टीम

हार्वेस्टर से फसल की कटाई करते।


गांव में पहुंचे अधिकारी।

कौशल सोनी, केटीजी समाचार

कांकेर। शहर से सटे एक गांव में भूमि विवाद के चलते खेत में खड़ी धान की फसल काटने को लेकर मारपीट के बाद पुलिस तक पहुंच गया था। दूसरी ओर समर्थन मूल्य पर धान खरीदी के लिए कुछ ही दिन बचे होने और खेत में खड़ी फसल पर पड़ रही मौसम की मार से परेशान महिला ने कलेक्टर से धान की कटाई के लिए गुहार लगाई थी। कलेक्टर के निर्देश के बाद प्रशानिक अधिकारियों और पुलिस की टीम गांव में पहुंची। जिनकी मौजूदगी में धान की फसल की कटाई की गई।
जिला मुख्यालय से 6 किलोमीटर दूर मालगांव निवासी सुखबती सिन्हा ने खेत में धान की फसल लगाई थी। उनके परिजनों के साथ उक्त भूमि के कब्जे को लेकर विवाद चल रहा था। जिसके चलते खेत में फसल तैयार होने के बाद परिजन धान की कटाई करने नहीं दे रहे थे। धान कटाई को लेकर विवाद बढ़ने पर मामला पुलिस थाने तक पहुंच गया था। लेकिन इस बीच खराब मौसम और अधिक समय होने से धान की फसल बर्बाद होने की आशंका बनी हुई थी। जिसके चलते सुखबती ने कलेक्टर चंदन कुमार को आवेदन सौंपकर खेत में खड़ी धान की फसल की कटाई के लिए गुहार लगाई थी कि उनके 1 एकड़ में लगी फसल की कटाई अब तक नहीं हो पाई है। घरेलू विवाद के चलते परिवार के कुछ लोग धान की फसल काटने नहीं दे रहे हैं। पीड़िता के पुत्र विष्णु सिन्हा ने बताया कि खेत का बटवारा हो चुका है, लेकिन आनलाइन त्रुटि के कारण विवाद हो रहा है। हमने अपने खेत में धान की फसल लगाई थी। लेकिन जब हम धान की सफल की कटाई कर रहे थे, तो हमारे परिजनों के विवाद बढ़ गया था। जिसके बाद कलेक्टर को अावेदन के माध्यम से समस्या से अवगत कराया गया था। कलेक्टर के निर्देश पर आज फसल की कटाई हो रही है। समय पर फसल की कटाई नहीं होने पर धान की सफल पूरी तरह से बर्बाद हो जाती। पीड़ित महिला की गुहार के बाद कांकेर कलेक्टर चंदन कुमार ने संज्ञान लिया और पुलिस और प्रशासनिक अमला दलबल के साथ शनिवार को खेत पहुंचा और खेत में खड़ी धान की फसल की हारवेस्ट से कटाई की गई। तहसीलदार आंनद नेताम ने बताया कि महिला किसान और उनके परिवार के कुछ सदस्यों के बीच जमीन का बंटवारा हो चुका था। लेकिन जमीन के कब्जे का विवाद खत्म नहीं हुआ। इसी दौरान महिला किसान सुखबती ने खेत में धान की फसल लगाई थी। जिसकी कटाई को लेकर विवाद हो रहा था और प्रकरण थाने तक भी पहुंचा था और फसल की काटने नहीं दिया जा रहा था। जिसके बाद पीड़िता ने कलेक्टर को आवेदन दिया था। मामले के संज्ञान आने के बाद मौके पर पहुंचकर धान की कटाई कराई जा रही है। समय पर धान की कटाई नहीं होने धान की फसल खराब हो जाती।